Home चंदौली सड़क की चौड़ाई को लेकर उच्च न्यायालय ने डीएम से मांगी रिपोर्ट

सड़क की चौड़ाई को लेकर उच्च न्यायालय ने डीएम से मांगी रिपोर्ट

चहनियां। तिरगाँवा मारूफपुर से चंदौली वाया सकलडीहा चहनियां मुख्य मार्ग पर निर्माणाधीन फोर लेन हाईवे में किसानों की जा रही जमीन के उचित मुआवजा को लेकर उपजे असंतोष व विवाद के बीच नदेसर निवासी गोविन्द नारायण मिश्र व अन्य पांच द्वारा उच्च न्यायालय में दाखिल जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए न्यायाधीश मनोज कुमार गुप्ता व दोनाड़ी रमेश की खंड पीठ ने डी एम चंदौली से आगामी 26 अक्टूबर तक भू नक्शा के हिसाब से सड़क के नाम दर्ज वास्तविक चौड़ाई को न्यायालय के समक्ष बताने का निर्देश दिया है। जिससे याचिका कर्ताओं ने इसे किसानों की जीत बताया है।
तिरगाँवा मारूफपुर से चंदौली वाया सकलडीहा चहनियां मुख्य सड़क की जर्ज़र स्थिति के मद्देनज़र स्थानीय सांसद सह केंद्रीय मंत्री डॉ महेंद्र नाथ पाण्डेय के प्रयास से नाली डीवाइडर सहित फोर लेन सड़क का निर्माण 80 फ़ीट की चौड़ाई में कार्यदायी संस्था द्वारा कराया जा रहा है। सड़क निर्माण में जगह जगह किसानों ने मुआवजा दिलाये जाने की मांग उठा रहे है। इसी क्रम में उच्च न्यायालय में प्रैक्टिस करने वाले नदेसर मारूफपुर निवासी गोविन्द नारायण मिश्र व अन्य पांच ने अधिवक्ता पीसी सिंह के माध्यम से उच्च न्यायालय में जनहित याचिका दाखिल करके सक्षम अधिकारियों द्वारा सड़क की वास्तविक चौड़ाई न्यायालय पटल पर बताते हुए उचित मुआवजे दिलाने की मांग किया था। क्योंकि उक्त याचिका कर्ता द्वारा लोक निर्माण विभाग से सड़क चौड़ाई के सम्बन्ध में मांगी गयी जनसूचना के बावत 12 नवंबर 2013 को दी गयी लिखित रिपोर्ट में सड़क की चौड़ाई 40-50 फ़ीट, जन सूचना के तहत ही सकलडीहा तहसील द्वारा 20 मार्च 2018 को दी गयी लिखित रिपोर्ट में सड़क के दोनों तरफ 35-35 कड़ी, जबकि उक्त याचिका में उपजिलाधिकारी सकलडीहा द्वारा दाखिल जबाब में सड़क की चौड़ाई ओवर आल 100 कड़ी बताई गयी है। उक्त तीनों रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद याचिका कर्ताओं के विद्वान अधिवक्ता द्वारा प्रस्तुत तर्कों की सुनवाई करते हुए बीते सोमवार को न्यायाधीश मनोज कुमार गुप्ता व दोनाड़ी रमेश की खंड पीठ ने डीएम चंदौली को आगामी 26 अक्टूबर को उक्त सड़क के चौड़ाई की वास्तविक स्थिति न्यायालय में प्रस्तुत करने का निर्देश जारी किया है। जिसका आदेश बुधवार को मिलते ही याचिका कर्ताओं सहित अन्य ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए इसे किसानों की जीत बताया है।

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